Sunday, March 30, 2025

सैलरी



सैलरी तुम चाँद जैसी हो , 

पूर्णिमा पर आती हो , 

अमावस पर ख़त्म हो जाती हो , 

मगर अमावस से फिर , 

पूर्णिमा आने तक , 

वो इन्तजार हद तक गुजर जाता है, 

साँसे अटकी , जेब खाली , 

शरीर  हलकान रहता है।  

Tuesday, March 18, 2025

यायावर

 

सुनो यायावर ,

कहाँ तक जाना है ?

और क्या पाना है ?

पता नहीं ,

हाँ ,लेकिन सब कहते है ,

चलते जाना है। 

 

अच्छा,

अभी तक जितना चले हो ,

उसमे से कुछ याद हैं ,

हाँ, धुँधला सा ही है ,

भागते भागते कहाँ कुछ दिखता ,

और याद रहता है। 

 

बताओ ,

किस चीज की तलाश है ,

बहुत कुछ ,

उस बहुत कुछ में ,

क्या -क्या शामिल है ,

पैसा , रुतबा , ईज्जत ,

कामयाबी , प्रसिद्धि ,

प्यार , मोहब्बत ,

सब कुछ। 

 

अभी तक कितना पाया ,

पाने से अधिक तो खोया है ,

झोले में जितना भरता है ,

उससे ज्यादा तो गिरता है ,

सोचा झोली भर जायेगी ,

सुकून मिल जायेगा ,

शांति से फिर सफर चलेगा ,

मगर उल्टा हो रहा है ,

भागदौड़ में बस ,

सफर चल रहा है ,

 

तो सुनो यायावर ,

कोई मंत्र तो नहीं मेरे पास ,

मगर एक तंत्र है ,

क्षण -क्षण का लुफ्त उठाओ ,

सफर में थोड़ा रुको ,

एहसास करो ,

जो है, उसका मजा लो ,

चलना तो है ही ,

हर मील पार करने पर ,

ठहरो , रुको ,

और जश्न मनाओ। 

Thursday, March 13, 2025

मकसद

 सारी चिंताएँ , 

कुछ खोने का डर , 

कुछ पाने की बेचैनी है।  


सारा संघर्ष , 

कुछ पाने का , 

कुछ और पाने का हैं।  


सारा दुःख , 

अपना नहीं है , 

दूसरों के सुःख का भी है।  


सारी अशांति , 

बाहर ही नहीं है , 

मन के भीतर भी है।  


सारी असफलताएँ , 

खुद की वजह से ही नहीं है , 

किसी के साथ नहीं देने से भी है।  


सारी सफलताएं , 

अकेले की नहीं है , 

बहुतों से साथ से भी है।  


सारी खुशियाँ , 

हमारी वजह से ही नहीं है , 

समय का साथ भी जरुरी है।  


हमारा जीवन , 

सिर्फ हमारा नहीं है , 

किसी न किसी मकसद का है।  


हमारा मकसद , 

हमने नहीं चुना है , 

उसने चुनकर भेजा है।  

Saturday, March 1, 2025

प्रवाही जीवन

 

सरल , सहज और प्रवाही जीवन ,

कठिन ,उलझा और रुका हुआ मन ,

इच्छाएँ अनेक  , साधन सीमित ,

जग बौराया ,  चिंताएँ अनंत।

 

ऊबड़खाबड़ रास्ते , दौड़ अंधाधुंध ,

साँसो की नाजुक डोर पर टिका नन्हा तन ,

किस्मत और कर्मों की जोर आजमाइश ,

कुछ पल सुकून को तरसता जीवन।

 

उपाय क्या है जिससे आसान बने जीवन ,

कर्म किये जा , न कर फल की चिंता ,

भरोसा रख , उम्मीद जगा , कम कर ईच्छा ,

वक्त को इज्ज़त बख्श , हर हाल मुस्करा।

 

स्वास्थ्य सबसे बड़ा धन है , नसीब जगा ,

धीरे -धीरे ही सही , मंजिल की तरफ कदम बढ़ा ,

बहुत उलझनों में खुद को न उलझा ,

एक राह पकड़ बस , उसी पर चलते जा।